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अमृत गंगा S4-02 सीज़न 4, अमृत गंगा की दूसरी कड़ी में, अम्मा कहती हैं, “अधिकतर लोग हवाई किले बनाते रहते हैं। यथार्थ को कभी न भुलायें आत्म-चिंतन करें। इससे हम, हर परिस्थिति को ईश्वर-इच्छा मानकर स्वीकार कर पायेंगे।” अम्मा भजन गाती हैं ‘कर ले माँ का ‘। सेवा अनुभाग में हम अमृता निकेतन की एक […]

अमृत गंगा S4-01 सीज़न 4, अमृत गंगा की पहली कड़ी में, अम्मा कहती हैं, “बच्चो, दुखी रहकर जीवन को गंवाओ मत! चरइवेति!” अम्मा भजन गाती हैं ‘पाशांकुशधर‘। सेवा अनुभाग में हम अमृता निकेतन की एक कहानी लेकर आए हैं – करुणा के माध्यम से जीवन में बदलाव के प्रसंग।

अमृत गंगा S3-100 सीज़न 3, अमृत गंगा की सौवीं कड़ी में, अम्मा कहती हैं, ‘भगवान को केवल शुद्ध हृदय प्रिय है। धन धार्मिक कार्यों के लिए अर्पण करें लेकिन भेंट के पीछे भाव अधिक महत्वपूर्ण है।’ अम्मा के कार्यक्रम कुआलालम्पुर (मलेशिया) में जारी हैं। अम्मा भजन गाती हैं ‘मथुराधिपते‘ ।

अमृत गंगा S3-101 सीज़न 3, अमृत गंगा की एक सौ एक वीं कड़ी में, अम्मा कहती हैं, “ईश्वर, कानों का कान, मनों का मन, आँखों की आँख है। हम सब हृदयों के सर्वांतर्यामी ईश्वर का हृदय में आह्वान करें!” अम्मा की यात्रा मलेशिया में। अम्मा भजन गाती हैं ‘वागधीश्वरी शारदे‘।

अमृत गंगा S3-102 सीज़न 3, अमृत गंगा की एक सौ दो वीं कड़ी में, अम्मा कहती हैं, “सांसारिक जीवन साधन है ईश्वर-प्राप्ति के मार्ग में बाधाओं को मिटाने का।” अम्मा की यात्रा मलेशिया में। अम्मा भजन गाती हैं ‘गोपाल सुन्दर ‘।